मुख्य रूप से किसी business को शुरू करने के लिए और उसे continuously run करने के लिए दो तरह की capital की जरुरत पड़ती हैं |
- Fixed capital
- Working Capital
इससे पिछले article में हमने working capital के बारें में जानकारी प्राप्त की थी , जैसे Working capital क्या हैं , तथा Working Capital को प्रभावित करने वाले कारक, इत्यादि |
आज के इस article में हम Fixed capital और Working capital के बीच कुछ जरुरी अंतरों को देखेंगे –
Fixed Capital क्या हैं ?
जब किसी business की शुरुआत की जाती हैं , या उसे बढ़ाया जाता है , तो fixed capital की जरुरत पड़ती हैं | Fixed Capital वो होती हैं , जिसे कंपनी की fixed assets में invest किया जाता हैं , उदहारण के तौर पर ( plant and machinery , Real estate , Tools , Vehicles ) इत्यादि |
Fixed Capital किसी business में लम्बी अवधि के लिए निवेश की जाती हैं , जिसका उपयोग एक accounting year से ज्यादा के लिए किया जाता हैं | अलग-अलग business के हिसाब से fixed capital की requirement कम या ज्यादा हो सकती हैं , उदहारण के तौर पर , Retail & Services कंपनियों की तुलना में manufacturing कंपनियों में fixed capital की जरुरत ज्यादा पड़ती हैं |
Working Capital क्या हैं ?
Working Capital वो होती हैं , जो किसी business के दैनिक खर्चों को पूरा करने , जैसे ( electricity bill , wages , staff salary , rent ) इत्यादि , तथा Day to Day Operations को Run करने के लिए काम में लायी जाती हैं |
Working Capital को current assets में से current liabilities को घटाकर निकाला जाता हैं , अगर किसी कंपनी का working capital surplus में है , तो इसका मतलब कंपनी में पर्याप्त मात्रा में liquidity हैं |
Fixed Capital और Working Capital में अंतर –
Fixed Capital और Working Capital दो मुख्य capital हैं , जो किसी business के लिए बेहद जरुरी हैं | जहाँ fixed capital को किसी business के शुरूआती दौर में लगाया जाता हैं , वहीँ working capital को उस business को continuously run करने के लिए invest किया जाता हैं |
Working capital और Fixed capital में और भी बहुत से अंतर हैं , जो इन्हे एक-दूसरे से काफी अलग बनाते हैं , चलिए उनके बारे में एक-एक करके विस्तार से जानते हैं –
Basis | Fixed Capital | Working Capital |
---|---|---|
Meaning | Fixed Capital nature में fixed होती हैं , जिसे किसी business में one-time invest किया जाता हैं | | Working Capital किसी business को continuously run करने के लिए , हर एक accounting year में invest की जाती हैं | |
Purpose | fixed capital किसी business को establish करने या उसे grow करने के लिए काम में लायी जाती हैं | | working capital किसी business के दैनिक खर्चों जैसे ( bills , wages , rent ) इत्यादि , को पूरा करने के लिए काम में लायी जाती हैं | |
Conversion | इसे cash में आसानी से convert नहीं किया जा सकता | | working capital को आसानी से cash में convert किया जा सकता हैं | |
Accounting period | fixed capital का एक से अधिक accounting period के लिए उपयोग किया जाता हैं | | इसे एक accounting year के लिए उपयोग किया जाता हैं | |
Liquidity | fixed capital में liquidity नहीं होती | | working capital में fixed capital की तुलना में ज्यादा liquidity होती हैं | |
Assets under Capital | fixed capital “Non-current” assets में invest की जाती हैं , जैसे ( plant and machinery , Real estate , vehicles ) इत्यादि | | working capital “current assets” में invest की जाती हैं , जैसे ( inventories , cash & bank balance , marketable securities ) इत्यादि | |
Sources | fixed capital को जुटाने के कई sources हैं , जैसे ( issuing of equity & preference shares , long-term loans , issuing debentures ) इत्यादि | | वहीँ , working capital ( short-term loans , deposits तथा trade credit के माध्यम से जुटाई जा सकती हैं | |
उम्मीद करतें हैं , इस पोस्ट के माध्यम से दी गयी जानकारी , जैसे ( Fixed Capital क्या हैं , Fixed Capital और Working Capital के बीच अंतर ) आपके लिए उपयोगी साबित होगी |
अगर आपके पास इस पोस्ट से जुड़े अभी भी कोई सवाल है , तो उसे आप हमसे निचे दिए गए comment section में पूंछ सकतें हैं |