स्टॉक मार्किट में निवेश करने के लिए जब किसी कंपनी की वित्तीय स्तिथि की जांच की जाती है तो इस जांच करने की प्रक्रिया को fundamental analysis कहा जाता है | fundamental analysis शेयरों की खरीद से पहले किया जाता है |
इसमें कंपनी से जुडी हर जानकारी की बारीकी से जांच की जाती है जैसे कंपनी क्या काम करती है वो कौन-कौन से products और services हैं, जिनके जरिये कंपनी मुनाफा का कमा रही है , कंपनी की वित्तीय स्तिथि कैसी है , कहीं कंपनी पर कोई ऐसा कर्ज तो नहीं जिससे कंपनी को होने वाला मुनाफा काम हो रहा है , कंपनी अपने competitors की तुलना में मुनाफा कमाने में कितनी सक्षम है इत्यादि , चीजों का पता लगाया जाता है |
Fundamental Analysis meaning in Hindi
Fundamental analysis का अर्थ , किसी कंपनी की वित्तीय स्तिथि का पता लगाने के लिए उस पर की गयी रिसर्च से होता हैं |
Fundamental Analysis के प्रकार –
Fundamental analysis दो प्रकार का होता है , यानि यह दो तरीकों से किया जाता है –
- Quantitative analysis
- Qualitative analysis
Quantitative analysis –
Quantitative analysis में कंपनी के number और figures पर ध्यान दिया जाता है | इससे कंपनी की वित्तीय स्तिथि का पता चलता है , यानि कंपनी के पास कुल कितनी संपत्ति है , कंपनी प्रतिवर्ष कितना मुनाफा कमा रही है और वो मुनाफा किस source से आ रहा है , और उस मुनाफे का कितना हिस्सा कंपनी ब्याज चुकाने में लगा रही है इत्यादि | कंपनी की वित्तीय स्तिथि का पता लगाने के लिए हम कंपनी के financial statements की मदद लेते हैं , जो की इस प्रकार है –
- Balance sheet
- P&L statement ( Income statement )
- Cash flow statement
- Financial ratios
Qualitative analysis –
Qualitative analysis करने के लिए आमतौर पर कंपनी द्वारा जारी की गयी वर्ष के अंत में Annual report को काम में लिया जाता है , इसमें कंपनी के management से जुडी हर मुख्य बातों को शामिल किया जाता है जैसे कंपनी का management कैसा है , कंपनी के future को लेकर management के क्या goal हैं और हाल में ही लिए गए management के decision का कंपनी के बिज़नेस पर क्या असर पड़ा हैं , इन सभी जरुरी चीजों को शामिल किया जाता है | जिसे आप Annual report के ” Management and discussion analysis “ के section में आसानी से देख सकतें है |
Fundamental Analysis Tools in Hindi
- Balance sheet
- P&L statement ( Income statement )
- Cash flow statement
- Financial ratios
- Annual Report
1. Balance sheet –
Balance sheet कंपनी के शुरुआती वर्ष से लेकर वर्तमान समय तक का ब्यौरा देती है , इससे पता चलता है की कंपनी की वित्तीय स्तिथि में वर्षों के दौरान क्या बदलाव आ रहा है, इसके आलावा यह कंपनी की कुल संपत्ति और कंपनी पर मौजूदा कुल देनदारियों को भी दर्शाती है |
2. Profit and loss statement ( Income statement ) –
P&L statement को Income statement भी कहा जाता है , ये भी Financial statement का ही एक हिस्सा है जो की एक वर्ष के भीतर कंपनी द्वारा किया गए लेन-देन को दर्शाता है | इसमें एक समय सिमा के भीतर कंपनी द्वारा अर्जित की गयी आय और उस आय के लिए किये गए खर्चों को शामिल किया जाता है |
3. Cash flow statement –
यह एक बहुत ही महत्वपूर्ण financial statement है | यह कंपनी की operating activities , financing activities और Investing activities के जरिये कंपनी में कितना actual cash आ रहा है और कितना actual cash कंपनी के बाहर जा रहा है , इसे दर्शाता है |
4. Financial ratios –
Financial ratios किसी भी कंपनी की वित्तीय स्तिथि का पता लगाने का एक बेहद अच्छा साधन होतें है | financial ratios कई प्रकार के होतें हैं जैसे Solvency ratios , liquidity ratios , profitibility ratios , Efficiency ratios . इन रेश्यो की साहयता कंपनी और उसके share price को 4 अलग-अलग parameter पर उतारा जा सकता है
5. Annual Report –
बात चाहे Quantitative analysis की हो या Qualitative analysis की , कंपनी की annual report दोनों ही तरह के analysis में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है | एक annual report में न सिर्फ कंपनी के मैनेजमेंट और उसके फाइनेंसियल स्टेटमेंट्स की जानकारी होती है , बल्कि इसकी साहयता से कंपनी का business model क्या है , यानि वो flagship company के आलावा और कहाँ-कहाँ से मुनाफा कमा रही है , इसकी जानकारी भी शामिल की जाती है |
Fundamental Analysis कैसे करें ?
Fundamental analysis करने के लिए top to bottom यानि पहले economy analysis , फिर industry analysis और उसके बाद company analysis या इसके विपरीत bottom to top approach को काम में लिया जाता है |
1. Economy Analysis –
किसी भी business में निवेश करने से पहले उस country की economy analysis करना बेहद जरुरी होता है , economy analysis में आमतौर पर कुछ जरुरी चीजों पर ध्यान दिया जाता है जैसे GDP growth कैसी है , Inflation यानि महंगाई दर कितनी है , इसके अलावा Political stability है या नहीं तथा प्रतिवर्ष country में कितना Import और कितना Export हो रहा है आदि चीजों पर ध्यान दिया जाता है | किसी भी country की economy analysis करने के लिए Financial newspaper और Financial megazines एक अच्छा साधन माने जातें है |
2. Industry Analysis –
किसी भी कंपनी में आपके द्वारा निवेश की राशि कितनी बढ़ेगी , यह इससे तय होता है की कंपनी किस Industry में काम कर रही है , उस particular Industry का GDP में कितना contribution है , यानि वो Industry उस country की GDP में कितना weightage रखती है | भविष्य में उस Industry के grow करने के लिए क्या-क्या oppurtunity हैं , और सरकार किन policies के जरिये उस Industry को push करने वाली है , इसके अलावा वो Industry नई हैं या पुरानी आदि चीजों पर ध्यान दिया जाता है |
3. Company Analysis –
जैसा की हम जानते हैं , किसी भीं कंपनी का analysis करने के लिए उस कंपनी द्वारा जारी किये गए वित्तीय नतीजें और वर्ष के अंत में प्रकाशित की गयी Annual report एक मत्वपूर्ण भूमिका निभातें हैं | इन tools की साहयता से न सिर्फ आप अपने निवेश के लिए एक बेहतर कंपनी चुन सकतें है , बल्कि उस कंपनी द्वारा जारी किये गए शेयरों को एक सस्ते valuation पर खरीद सकतें हैं और भविष्य में अच्छा मुनाफा कमा सकतें है |
लेकिन यहाँ पर ध्यान देना जरुरी हैं , किसी भी कंपनी का analysis करते समय उसकी तुलना उस particular industry के competitors से करना न भूलें , तभी आपको एक clear picture मिलती है company और industry growth की | इससे पता लगाया जाता है , की उस particular industry की तुलना में आपकी company कैसा perform कर रही है | ध्यान दें Fundamental analysis एक time-consuming process है , इसमें काफी समय लगता है इसलिए इसे सही तरीके से करना बेहद जरुरी है |
Fundamental Analysis के फायदे –
1. Fundamental analysis न सिर्फ आपकी knowledge में बढ़ोतरी करता है , बल्कि इस तरह का एनालिसिस करने से आप अपने निवेश को कई तरह के जोखिमों से सुरक्षित कर लेते हैं |
2. जब आप Fundamental analysis कर रहें होते हैं , तो न सिर्फ आप company का analysis करते है , बल्कि जाने-अनजाने में उस particular industry का analysis कर रहें होतें है , जिससे आपको उस sector में काम कर रही बाकि कंपनियों के बारें में पता चलता रहता है , इससे आपको नए stocks ढूंढ़ने में काफी मदद मिलती है |
3. Fundamental analysis से किसी भी कंपनी की बाजार में कितनी पकड़ है , यानि Market share का कितने प्रतिशत हिस्सा उस कंपनी के पास है इसका पता आसानी से लगाया जा सकता है |
4. Fundamental analysis की साहयता से आप अपने निवेश को कई गुना तक बढ़ा सकतें है और इसके जरिये आप किसी अच्छी और ख़राब कंपनी के बीच के अंतर को आसानी से समझ सकतें है |
उम्मीद करतें है , इस पोस्ट के माध्यम से दी गयी जानकारी जैसे ( fundamental analysis क्या है , fundamental analysis के प्रकार , fundamental analysis कैसे करें इत्यादि ) आपके लिए उपयोगी साबित होगी |
अगर आपके पास इस पोस्ट से जुड़े अभी भी कोई सवाल है , तो उसे आप हमसे निचे दिए गए comment section में पूंछ सकतें हैं |